भोपाल: किसानों को उनकी उपज का उचित मूल्य दिलाने के लिए लागू की गई भावांतर योजना के लिए इंदौर जिले के देपालपुर और उज्जैन के किसानों ने रविवार को भव्य ट्रैक्टर रैली निकालकर राज्य सरकार के इस ऐतिहासिक निर्णय के लिए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का आभार माना। ट्रैक्टर रैली में हजारों की संख्या में ग्रामीण क्षेत्रों के किसान इंदौर के सुपर कॉरिडोर में एकत्रित हुए, जहां मुख्यमंत्री डॉ. यादव का किसानों के हित में लिये गये निर्णय के लिये आभार व्यक्त किया गया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव श्योपुर जिले से किसान रैली में वर्चुअली शामिल हुए और किसानों के स्नेहपूर्ण आभार प्रदर्शन के प्रति कृतज्ञता जाहिर की। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि किसानों की खुशहाली ही हमारी सरकार की सबसे बड़ी प्राथमिकता है। भावांतर योजना के माध्यम से हमने यह सुनिश्चित किया है कि किसानों को उनकी फसल का पूरा मूल्य मिले। बाजार में यदि दाम घटते भी हैं तो सरकार किसानों की आय में कोई कमी नहीं आने देगी। किसानों के चेहरे पर लौटती मुस्कान हमारे प्रयासों की सफलता का प्रमाण है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि आज इंदौर में चारों तरफ ट्रैक्टर नजर आ रहे है। अन्नदाताओं ने भव्य रैली निकालकर माता अहिल्या की नगरी को धन्य कर दिया है।
किसानों को उनकी मेहनत और हक का दिलाया जायेगा पूरा पैसा:
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बताया कि सोयाबीन के एमएसपी दर में 500 रूपये की वृद्धि कर 5328 रूपये प्रति क्विंटल समर्थन मूल्य निर्धारित किया गया है। किसानों की सुविधा के लिये पूरे प्रदेश में लगभग 1700 पंजीयन केन्द्र बनाये गये हैं। इसमें अब तक 5 लाख से अधिक किसानों ने अपनी फसल का पंजीयन कराया है। अकेले इंदौर जिले में ही अब तक 35 हजार से अधिक किसानों ने सोयाबीन फसल के लिये अपना पंजीयन कराया है। पंजीयन की अंतिम तिथि 17 अक्टूबर रखी गई है। किसानों को फसल बेचने के 15 दिवस के भीतर राशि वितरित करने का लक्ष्य रखा गया है।
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